ख़ुशी का खुशमिजाज सम्भोग

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मेरा नाम आशुतोष है और मैं स्कूल में क्लर्क हूं। मैं रांची का रहने वाला हूं और मेरी उम्र 35 वर्ष है। मेरी शादी को भी कई वर्ष हो चुके हैं और मुझे मेरी पत्नी से दो छोटे-छोटे बच्चे हैं और मेरे साथ मेरे माता-पिता और मेरी एक बहन भी रहती है। मेरे पिताजी भी एक बहुत बड़े पद पर कार्यरत थे। जब से वह रिटायर आए हैं उसके बाद से वह घर पर ही हैं और कभी कबार वह गांव चले जाते हैं। हमारी बहन के लिए भी रिश्ते आने लगे हैं तो हम लोग उसके लिए रिश्ता ढूंढ रहे थे। तभी उसी बीच मेरे पिताजी के पुराने दोस्त से पिताजी का संपर्क हुआ और उन्होंने एक लड़के की तस्वीर दिखाई। जब उन्होंने इस बारे में घर में चर्चा की तो सब लोगों को वह लड़का बहुत पसंद आया। क्योंकि वह भी एक बड़े पद पर कार्यरत है। जिससे कि पिताजी भी बहुत खुश थे और मैंने भी इस रिश्ते के लिए हामी भर दी थी। मेरी बहन भी उस रिश्ते से बहुत खुश थी। जब लड़के वाले हमारे घर पर आए तो वह लोग हमसे मिलकर बहुत खुश हुए और कहने लगे कि हमें तो लड़की बहुत पसंद है और आप लोगों का घर भी बहुत अच्छा है। उसके बाद मेरी बहन की शादी हो गई। हमने उसकी शादी बहुत ही धूम-धड़ाके से की। शादी के बाद वह दो-तीन बार हमारे घर आई है या फिर कभी मैं उसके घर चला जाता हूं।

जब से वह गई है उसके बाद से हमारे घर का ऊपर वाला फ्लोर खाली पड़ा था। हम लोग सोच रहे थे कि उसे किराए पर दे दिया जाए। क्योंकि मेरे पिताजी लोग भी गांव जाते रहते हैं और बहन की भी शादी हो चुकी थी। फिर मैंने इस बारे में अपने पिताजी से बात की कि हम लोग ऊपर वाले फ्लोर किसी को किराए पर दे देते हैं। उन्होंने कहा ठीक है। यदि तुम्हें कोई अच्छी फैमिली या कोई अच्छा व्यक्ति मिलता है तो तुम उसे किराए पर दे दो। वैसे भी वहां पर कोई रह नहीं रहा है और यदि कोई वहां पर रहेगा तो साफ-सफाई हो जाया करेगी। इस बारे में मैंने अपने ऑफिस में भी बात की और अपने दोस्तों को भी बता दिया था। यदि उनके कोई संपर्क में हो तो वह मुझे बता दे कि मेरे यहां पर घर खाली है। हमारे स्कूल में ही मेरे साथ में एक दोस्त हैं। वह मुझे कहने लगे कि हमारे एक परिचित हैं। उन्हें घर चाहिए वह लोग रहने के लिए घर ढूंढ रहे हैं। जहां पर कि उन्हें किसी भी प्रकार की कोई समस्या ना हो और अच्छे व्यक्ति वहां पर हो। मैंने अपने दोस्त से कहा कि तुम उन्हें मुझ से मिलवा दो और मैं उन्हें घर दिखा दूंगा। यदि उन्हें पसंद आएगा तो वह लोग रह लेंगे। अब उन्होंने मुझे उस व्यक्ति का नंबर दे दिया। उनका नाम गौतम था और वह पढ़ाई कर रहे थे।

उनके साथ में उनकी बहन भी थी जो कि कॉलेज में ही थी। गौतम प्रतियोगिता परीक्षाओं की तैयारी कर रहा था और उसकी बहन कॉलेज की पढाई की तैयारी कर रही थी। जब उन्होंने घर देखा तो उन्हें बहुत ही अच्छा लगा और वह कहने लगे कि हमें आपका घर पसंद है। हम लोग अगले हफ्ते से यहां पर रहने आ जाएंगे। अब वह लोग हमारे घर पर रहने आ गए। उनके आने से हमारे घर में भी अच्छा माहौल था। क्योंकि मेरे पिताजी का भी मन लगा रहता था। वह उन लोगों के साथ बातें कर लिया करते थे और मेरी मां भी उन लोगों के साथ बातें कर लिया करती थी और कभी भी यदि मैं घर पर नहीं होता तो उन्हें कुछ सामान की आवश्यकता होती तो गौतम उनके लिए सामान ले आता। प्राची भी बहुत अच्छी थी। कभी यदि मेरी पत्नी की तबीयत खराब हो जाती तो वह हमारे घर पर ही खाना बना दिया करती थी। अब हम लोगों के संबंध घरेलू संबंध बन चुके थे। गौतम अपनी परीक्षा की तैयारी कर रहा था  उसी बीच उसका सलेक्शन हो गया और जब उसका सलेक्शन हुआ तो वह बहुत ही खुश था और कहने लगा भैया मेरा सिलेक्शन हो चुका है। मैंने उसे बधाइयां दी और वह कहने लगा हो सकता है। मुझे ट्रेनिंग के लिए जाना पड़े लेकिन प्राची यहीं पर रहेगी तो आप लोग उसका ध्यान रख लीजिएगा। मैंने उसे कहा तुम चिंता मत करो प्राची को किसी भी तरीके की कोई तकलीफ नहीं होगी। कुछ दिनों बाद गौतम अपनी ट्रेनिंग के लिए चला गया और प्राची अपने कॉलेज से सीधा घर आ जाया करती और कभी वह अकेली होती तो हमारे साथ बैठ जाया करती थी। प्राची को भी बहुत ही अच्छा लगता था जब वह हमारे साथ बैठती थी। गौतम मुझे बीच-बीच में फोन कर दिया करता था और प्राची के बारे में पूछ लिया करता था। मैं उसे कहता था कि तुम उसकी चिंता बिल्कुल मत करो। अब वह हमारे घर पर है तो हमारी जिम्मेदारी बनती है कि हम उसका ध्यान रखें और हम लोग उसका पूरा ध्यान रखते हैं। तुम्हे किसी भी प्रकार की कोई चिंता करने की आवश्यकता नहीं है। तुम अपनी ट्रेनिंग में ध्यान दो और वह कहने लगा कि मेरी ट्रेनिंग भी कुछ समय बाद समाप्त हो जाएगी। उसके बाद मैं रांची आ जाऊंगा।

मैं एक दिन ऐसे ही प्राची का हालचाल पूछने के लिए उसके कमरे में चला गया। मैं जैसे ही उसके कमरे में गया  मैंने देखा वह बाथरुम में थी और अपने चूत के बाल को साफ कर रही थी लेकिन उसने दरवाजा बंद नहीं किया था। जैसे ही उसने मुझे देखा तो वह घबरा गई और वहीं खड़ी हो गई। मैं जैसे ही उसके पास गया तो मैंने उसकी चूत मे देखा तो उसने आधे बाल साफ़ किए हुए थे और आधे बाल उसकी चूत में अभी भी लगे हुए थे। मैंने जैसे ही उसकी चूत में उंगली लगाई तो वह   उछलने लगी। मैंने तुरंत ही अपने लंड को बाहर निकालते हुए उसके मुंह में डाल दिया। वह बहुत ही अच्छे से मेरे लंड को मुंह में लेकर चूसने लगी। जिससे कि मुझे भी बहुत मजा आ रहा था और उसे भी बहुत ही मज़ा आने लगा। कुछ देर बाद उसकी उत्तेजना बहुत ज्यादा बढ़ चुकी थी तो मैंने उसे वहीं जमीन पर लेटा दिया और उसकी चूत को चाटना शुरू कर दिया। उसकी चूत पूरी गीली हो गई थी उस से बिल्कुल भी रहा नहीं जा रहा था। मैंने जैसे ही उसकी योनि में अपने मोटे लंड को डाला तो वह चिल्लाने लगी। वह कहने लगी मेरी सील आपने तोड़ दी है। मैंने जब उसकी चूत को देखा तो उससे खून निकल रहा था और मैं बहुत ज्यादा खुश हो गया। मैंने उसे कसकर पकड़ लिया और तेज तेज झटके देना शुरु कर दिया। मैंने उसे इतनी तेज तेज धक्के दिए कि वह बहुत ही ज्यादा खुश हो गई। अब उसके गले से बहुत तेज आवाज निकलने लगी उसके गले से इतनी मादक आवाज निकलती तो मुझे भी बड़ा आनंद आने लगा। वह मुझे कहने लगी आप तो मुझे बहुत ही अच्छे से चोद रहे हैं मुझे बहुत मजा आ रहा है आपके साथ सेक्स करने में। अब मैंने उसे खड़ा करते हुए उसे घोड़ी बना दिया और जैसे ही मैंने उसकी योनि में अपने लंड को डाला तो वह उछल पडी। मैंने उसे कसकर पकड़ लिया मैंने उसे बड़ी तेज तेज धक्के देना शुरु किया। मै उसके चूतड़ों पर बहुत तेज प्रहार करता जाता जिससे कि वह बहुत खुश हो रही थी।

मैं भी उसे बड़ी तेजी से झटके दिए जा रहा था। उसकी चूतडे पूरी लाल हो गई थी और मुझे ऐसा लग रहा था जैसे कि मैं किसी कच्ची कली को चोद रहा हूं। क्योंकि प्राची की उम्र कुछ ज्यादा नहीं थी। मुझे बड़ा मजा आ रहा था उसे चोदने में अब उसकी योनि से बहुत ही तेज खून टपक रहा था और मैं उसे उतनी ही तेजी से धक्के दिए जा रहा था। मुझे बड़ा ही आनंद आता जब मैं उसे झटके देता जाता। लेकिन मैं उसकी योनि की गर्मी को ज्यादा देर तक बर्दाश्त नहीं कर पाया और मुझे लगने लगा कि मेरा वीर्य गिरने वाला है। इस वजह से मैंने उसे कस कर पकड़ लिया और बड़ी तेज तेज धक्के देने शुरू कर दिए। मैंने अब उसे इतनी तीव्रता से चोदना शुरू किया कि उसकी चूतडे  मेरे लंड से बड़ी तेज लग रही थी और वह भी अपनी चूतड़ों को मुझसे मिलाने पर लगी हुई थी। कुछ देर में उसकी चूत से कुछ ज्यादा ही गर्मी बाहर निकलने लगी और उसी गर्मी के बीच में मेरा वीर्य पतन हो गया। मेरा वीर्य इतनी तेजी से उसकी योनि में गया कि उसे बहुत मजा आ गया। उसके बाद वह मुझे कहने लगी कि आपके साथ सेक्स करके मुझे बहुत ही मजा आया। मैं जब भी अपने ऑफिस से आता था तो हमेशा उसे चोदा करता था।

 

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